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      Breastfeeding and Formula Feeding Schedule in Hindi | स्तनपान और फॉर्मूला फ़ीडिंग शेड्यूल कैसा होना चाहिए?

      Breastfeeding & Lactation

      Breastfeeding and Formula Feeding Schedule in Hindi | स्तनपान और फॉर्मूला फ़ीडिंग शेड्यूल कैसा होना चाहिए?

      8 August 2023 को अपडेट किया गया

      कुछ माताओं को काफी अच्छी मात्रा में दूध आता है इसलिए वे अपने शिशुओं को विशेष रूप से स्तनपान कराना पसंद करती हैं. जबकि कुछ को थोड़ा कम मात्रा में दूध आता है और इस वजह से उन्हें इस बात की चिंता रहती है कि जिस समय उनके स्तन में दूध नहीं आ रहा होगा तो वह उस समय अपने बच्चे को क्या खिलाएं.

      स्तनपान और फार्मूला फीडिंग पर अधिकतर पूछे जाने वाले प्रश्नों के उत्तर निम्नलिखित हैं:

      क्या बच्चे को एक ही समय में मां का दूध और फॉर्मूला दोनों पिलाना सही है?

      हाँ, आप एक ही समय में माँ का दूध और फॉर्मूला फीडिंग दोनों का सुरक्षित रूप से इस्तेमाल कर सकती हैं. कुछ माताएं दिन में स्तनपान कराती हैं और रात में बच्चे को फॉर्मूला मिल्क पिलाती हैं.

      बॉडी वेट-बेस्ड फॉर्मूला फीडिंग

      आप अपने बच्चे के वजन के प्रत्येक पाउंड के लिए 75 मिलीलीटर फॉर्मूला का इस्तेमाल कर सकती हैं. पुष्टि के लिए अपने बाल रोग विशेषज्ञ से चेक कराएं.

      ऑन-डिमांड फीडिंग

      बच्चे को भूख लगने पर उसे उसी समय दूध पिलाना ऑन डिमांड फीडिंग कहलाता है. शिशुओं को आमतौर पर हर 2 से 3 घंटे में दूध पिलाने की जरूरत होती है.

      शिशु फार्मूला फीडिंग की मात्रा और समय

      प्रत्येक बच्चे की भूख अलग होती है और नवजात शिशु को हर 2 से 3 घंटे में एक बार दूध पिलाना आम बात है. आपको अपने बच्चे के साथ उसकी आहार संबंधी जरूरतों को समझने के लिए उसके साथ एक मजबूत रिश्ता बनाना होगा.

      खाने और सोने का पैटर्न

      नवजात शिशुओं को आमतौर पर हर 2 से 3 घंटे में एक बार दूध पिलाने की जरूरत होती है और वे हर एक भोजन के बाद झपकी लेते हैं. कुछ समय बाद आप अपने बच्चे के खाने और सोने के तरीके को समझने लगेंगी.

      अपने शिशु की आहार संबंधी जरूरतों को समझना

      जब भी आपके बच्चे को भूख लगे या फिर 2 से 3 घंटे के नियमित अंतराल पर आप उसे दूध पिला सकती हैं. बच्चे के मुंह से निकलने वाली चूसने जैसी आवाज़ उसकी भूख का एक संकेत है जिसे देखकर आप उनका आहार तैयार करना शुरू कर सकती हैं.

      पार्ट- टाइम नर्सिंग के क्या फायदे हैं?

      1. बच्चे को स्तनपान छुड़ाकर फॉर्मूला दूध पिलाना शुरू करना आसान हो जाता है.

      2. नई माताओं को रिकवरी का समय मिल जाता है.

      3. माताएं बिना किसी परेशानी के नींद ले पाती हैं.

      क्या मैं अपने बच्चे को रात में फॉर्मूला और दिन में स्तनपान करा सकती हूँ?

      हाँ, आप ऐसा कर सकती हैं. रात में शिशु के खाने का ध्यान रखने की जिम्मेदारी आप अपने साथी को भी दें ताकि आप बिना किसी परेशानी के सो पाएं.

      कॉम्बिनेशन फीडिंग के कारण

      1. काम पर वापस जाना.

      2. बाधारहित नींद लेना.

      3. स्तन दूध कम हो जाना.

      मिक्स्ड-फीडिंग के फायदे और नुकसान

      शिशुओं को मिक्स्ड फीडिंग कराने से माताओं को थोड़ा आराम मिल जाता है और वे बिना किसी परेशानी के सो पाती हैं. लेकिन अगर मां अपना दूध नहीं निकालती हैं तो उनको दूध आना कम हो सकता है.

      पार्ट-टाइम नर्सिंग विकल्प

      1. दिन में स्तनपान कराएं और रात में फॉर्मूला फीड कराएं.

      2. पूरे दिन बारी-बारी से स्तनपान और फॉर्मूला पिलाती रहें.

      3. दिन में फॉर्मूला दूध और रात में स्तनपान कराएं.

      कामकाजी माताओं के लिए पार्शियल वीनिंग

      यदि कामकाजी माताएं व्यस्त हैं या फिर उन्हें काम पर जाना होता है तो वे अपने शिशुओं को पार्शियली दूध पिला सकती हैं. वे अपने सुविधाजनक समय पर घर पर ही स्तनपान करा सकती हैं या निकाले गए दूध का इस्तेमाल कर सकती हैं.

      पार्शियल वीनिंग का दूध उत्पादन पर क्या प्रभाव पड़ेगा?

      पार्शियल वीनिंग से माँ के दूध के उत्पादन में कमी आ सकती है. यदि आप नियमित अंतराल पर दूध निकालती रहें तो हो सकता है कि उसमें कोई बदलाव न हो.

      फॉर्मूला फीडिंग शुरू करने का तरीका

      1. बोतल को इस्तेमाल करने से पहले उसे अच्छी तरह से साफ कर लें.

      2. अपने बाल रोग विशेषज्ञ द्वारा सुझाए गए फॉर्मूले का इस्तेमाल करें.

      3. सही मात्रा में फॉर्मूला और गर्म पानी मिलाएं.

      4. अपने बच्चे को दूध पिलाने से पहले दूध का तापमान चेक कर लें.

      कितने प्रतिशत बच्चों के लिए फॉर्मूला का इस्तेमाल किया जाता है?

      75% शिशुओं के माता-पिता अपने 6 महीने से अधिक उम्र के बच्चे के लिए फॉर्मूला दूध का इस्तेमाल करना पसंद करते हैं.

      क्या फॉर्मूला के साथ सप्लीमेंट लेने से स्तनपान के फायदे कम हो जाते हैं?

      फॉर्मूला दूध पीने वाले बच्चों को माँ का दूध कम ही मिलता है लेकिन दिन में दो बार भी स्तनपान कराना आपके बच्चे के लिए फायदेमंद रहेगा.

      कॉम्बिनेशन फीडिंग के लिए उपयुक्त बेबी बॉटल

      कॉम्बिनेशन फीडिंग के लिए, आपको ऐसी निप्पल वाली बेबी बोतल चुननी चाहिए जो प्राकृतिक निप्पल जैसी लगे. यह बच्चे को निप्पल भ्रम से बचने में मदद करता है.

      आप माँ के दूध में फॉर्मूला कैसे मिलाते हैं?

      आप माँ का दूध फॉर्मूला में मिला सकती हैं लेकिन पानी की जगह इसे न लें. फॉर्मूला के साथ थोड़ा सा माँ का दूध मिलाएं और इसे मिलाने के एक घंटे के भीतर इसका इस्तेमाल करें.

      पाउडर्ड इन्फेंट फार्मूला कैसे तैयार करें?

      1. फॉर्मूला की सही मात्रा को मापें और इसे बच्चे की बोतल में डालें.

      2. साफ पानी गर्म करें और सही मात्रा में बोतल में डालें.

      3. बोतल को हिलाएं ताकि फॉर्मूला पानी में अच्छी तरह से मिल जाए.

      4. अपने बच्चे को बोतल देने से पहले दूध का तापमान जरूर चेक कर लें.

      फॉर्मूला और मां के दूध को एक साथ बोतल में मिलाकर इस्तेमाल करने के दिशानिर्देश

      1. फॉर्मूला दूध मिलाते समय पानी की जगह मां के दूध को न बदलें.

      2. तैयार फॉर्मूला मिल्क में थोड़ा सा माँ का दूध मिलाएं.

      3. ध्यान रहे कि दूध मिलाने के एक घंटे के भीतर ही इसका इस्तेमाल हो गया हो और बाकी जो दूध बच गया हो उसे फेंक दें.

      कॉम्बिनेशन फीडिंग के लिए फॉर्मूला की मात्रा

      जब भी आपको आपका बच्चा भूखा लगे या थोड़ा मचलता हुआ दिखे तो आप उसे दूध पिला सकती हैं. आप अपने बाल रोग विशेषज्ञ से भी सलाह ले सकती हैं या अपने बच्चे के वजन के प्रत्येक 1 एलबी के लिए 75 मिलीलीटर फॉर्मूला का इस्तेमाल कर सकते हैं.

      स्तनपान और फार्मूला फीडिंग शेड्यूल

      एक ऐसा शेड्यूल तैयार करें जो आपके और आपके बच्चे के अनुसार हो. आप दिन में स्तनपान करा सकती हैं और रात में फॉर्मूला दूध पिला सकती हैं या इसका उल्टा भी कर सकती हैं. आप पूरे दिन बच्चे के लिए स्तनपान और फार्मूला दोनों का भी इस्तेमाल कर सकती हैं.

      6-महीने के बच्चे के लिए कॉम्बिनेशन फीडिंग शेड्यूल

      6 महीने के बच्चे के मिश्रित आहार शेड्यूल का एक उदाहरण नीचे दिया गया है:

      जरूरत पड़ने पर रात भर बोतल से दूध पिलाना.

      सुबह 7 बजे - बच्चे के उठने पर स्तनपान कराना.

      सुबह 9 से 10 बजे - दूसरी फीडिंग के लिए फॉर्मूला दूध और उसके बाद झपकी लेने का समय.

      दोपहर - शिशु आहार.

      दोपहर 2 बजे - स्तनपान के बाद झपकी लेने का समय.

      शाम 4 से 5 बजे - बेबी फूड.

      शाम 7 बजे - स्तनपान और सोने का समय.

      कॉम्बिनेशन फीडिंग टिप्स

      फॉर्मूला खरीदने वाली माताओं के लिए पैसे बचाने के टिप्स

      1. थोक में फॉर्मूला खरीदें.

      2. ऑनलाइन डील्स चेक करें.

      3. कूपन का इस्तेमाल करें.

      निष्कर्ष

      माता-पिता होने के नाते, आपको वह चुनना चाहिए जो आपके बच्चे के लिए सबसे ज्यादा सही है - स्तनपान, फॉर्मूला मिल्क या दोनों का एक साथ इस्तेमाल. अपने बाल रोग विशेषज्ञ को बच्चे की खाने की आदतों के बारे में बताएं और नियमित रूप से उसका वजन चेक करते रहें.

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      Written by

      Khushboo Goel

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