Weight Loss
8 August 2023 को अपडेट किया गया
फैड वर्कऑउर प्रोग्राम और अन्य प्रोडक्ट्स के इस्तेमाल करने के बावजूद, बच्चे के जन्म के बाद शेप में वापस आने के लिए एक लम्बा समय लगता है, इसमे लगभग दो साल तक लग सकते हैं। हालांकि, पोस्टपार्टम वेट घटाना पहली बार में कठिन लग सकता है, लेकिन इस आर्टिकल के माध्यम से नई मां को यह पता चल सकता है कि वे कैसे फिट और स्वस्थ रहने के लिए क्या कदम उठा सकती हैं।
हर महिला का शरीर अलग होता है और डिलीवरी के बाद हर किसी को ठीक होने और रिकवर होने में समय लगता है। हमे अपने शरीर के अनुसार उसे हील होने के लिए समय देना चाहिए। आमतौर पर, एक महिला के सर्विक्स को बंद होने, ब्लीडिंग रुकने और यूटरस को प्री-प्रेगनेंसी से पहले के आकार में वापस आने में कम से कम 6 सप्ताह लगते हैं। इस दौरान हाई इम्पैक्ट एक्टिविटीज़ से बचना चाहिए। इसके बजाय, चलने या तैरने जैसे हल्के व्यायामों पर ध्यान दें। जैसे-जैसे आपकी एनर्जी का लेवल बढ़े, उसी अनुसार अपनी अन्य एक्टिविटीज़, जैसे लाइट वेट उठाना या योगा शुरू करें।
डिलीवरी के बाद वापस शेप में आने में कितना समय लगता है? यह एक महिला पर निर्भर करता है कि वे कितनी जल्दी अपने शरीर को शेप में लाना चाहती है। कुछ महिलाएं अपने प्री-प्रेगनेंसी वेट और पहले के वर्कआउट रूटीन में बहुत जल्दी लौट आती हैं, जबकि अन्य को थोड़ा अधिक समय लग सकता है।
पोस्ट डिलीवरी के बाद चीजों को धीमी गति से करें किसी भी चीज़ में जल्दबाज़ी ना करें। पोस्ट डिलीवरी के बाद के शुरुआती हफ्तों और महीनों में बहुत अधिक मेहनत या वर्कऑउट करने से चोट या झटका लग सकता है। जो महिलाएं प्रेगनेंसी के दौरान ज्यादा एक्टिव रहती है, उनके लिए डिलीवरी के बाद वजन कम करना आसान होता है।
सबसे बेहतरीन पोस्टपार्टम वेट लूज़ डाइट के बारे में जानें ।
हालांकि, हेल्दी फ़ूड खाना सभी के लिए बेहद जरूरी है, चाहे आपका फिटनेस गोल कोई भी हो, लेकिन नई मां को इस बारे में अतिरिक्त सावधान रहने की आवश्यकता है कि वे क्या खा रही हैं। पोस्ट डिलीवरी के बाद आपके शरीर में बहुत सारे बदलाव आते है, और उसके लिए आपको अपने शरीर को हील और रिकवर होने के लिए समय देना बेहद जरूरी है। परन्तु, इसका मतलब यह नहीं है कि हेल्थी खाना फ्लेवरलेस होना चाहिए। यहाँ एक हेल्थी, पोस्टपार्टम वेट लूज़ डाइट के बारे में कुछ सुझाव दिए गए हैं:
1. खूब सारे फल और सब्जियों का सेवन करें। ये पोषक तत्वों से भरे होते हैं जो शरीर को ताकत देते हैं और प्रेगनेंसी के दौरान हुए किसी भी नुकसान को रिपेयर करने में मदद करते हैं।
2. अपनी डाइट में पर्याप्त मात्रा में प्रोटीन लें। नई मां के मसल टिशू को रीबिल्ड करने और उनके शरीर में आए कट्स को ठीक करने के लिए प्रोटीन की आवश्यकता होती है। कम से कम फैट के साथ अधिक से अधिक लाभ प्राप्त करने के लिए चिकन, फिश या टोफू जैसे लीन प्रोटीन का सेवन करें।
3. खूब सारा पानी पिएं। पानी टॉक्सिन्स को हमारे शरीर से बाहर निकालने में मदद करता है और टीशूज को हाइड्रेटिड रखता है। एक दिन में 8 गिलास का लक्ष्य रखें। यदि मॉम्स स्तनपान करा रही हैं तो और ज्यादा पानी का सेवन करें।
4. प्रोसेस्ड फ़ूड, शुगर ड्रिंक्स और अत्यधिक कैफीन का सेवन ना करें। ये चीज़ें आपके शरीर को ठीक होने से रोकती हैं तथा डिहाइड्रेशन या नींद की समस्या जैसी समस्याएं पैदा कर सकते हैं। विशेष रूप से कैफीन आपके शरीर के नेचुरल स्लीप साइकिल या सर्कैडियन रिदम को बिगाड़ने का काम करता है। कॉफी का सेवन कम से कम अपने सोने से 6 घंटे पहले करें।
जब आप एक बच्चे की मां बनती हैं, तो वह समय आपके लिए बेहद सुकून भरा होता है परन्तु इसके साथ ही आपको कई तरह की शारीरिक और भावनात्मक चुनौतियों का सामना करना पड़ता है। नई मां के लिए सबसे बड़ी समस्या यह है कि डिलीवरी के बाद अपनी पुरानी शेप में कैसे वापिस आएँ। सभी नई मां के लिए अच्छी खबर यह है कि डाइट और एक्सर्साइज़ के सही ताल मेल से वे अपनी पुरानी शेप में वापिस आ सकती हैं।
हर महिला अलग होती है और उनका शरीर अपनी गति से ठीक होता है। पोस्ट डिलीवरी के तुरंत बाद एकदम से अपने शरीर को ना थकाएं। परन्तु सामान्य तौर पर, अधिकांश विशेषज्ञ डिलीवरी के छह सप्ताह के भीतर हल्की एक्सर्साइज़ शुरू करने की सलाह देते हैं।
यहां कुछ पोस्टपार्टम वेट लूज़ के टिप्स और एक्सरसाइज़ दी गई हैं जिन्हें घर पर किया जा सकता है:
- वॉकिंग: शुरूआती तौर पर 10-15 मिनट की वॉक करना शुरू करें। जब आपका शरीर कम्फर्टेबले महसूस करे तो धीरे-धीरे समय और दूरी बढ़ा दे।
- लाइटवेट लिफ्टिंग: कुछ बेसिक आर्म एक्सर्साइज़ जैसे बाइसेप्स कर्ल और ट्राइसेप्स किकबैक करने के लिए 3-5 पाउंड के डम्बल का इस्तेमाल करें।
- पेल्विक फ्लोर एक्सर्साइज़: इसे केगल्स के रूप में भी जाना जाता है, यह पेल्विक एरिया की मांसपेशियों को टोन करने में मदद करता है और ब्लैडर पर कंट्रोल में सुधार कर सकता है।
किसी भी प्रोग्राम को शुरू करने से पहले अपने डॉक्टर से सलहा अवश्य लें। आपके OB/GYN ओबी/जीवाईएन सबसे अनुभवी होते हैं और ये आपके व्यक्तिगत मामलों से अच्छी तरह वाकिफ होते है। इसलिए, वे प्रत्येक गर्भावस्था में अद्वितीय बाधाओं और कारकों को समझते हैं और उसी अनुसार आपको सलहा देतें हैं। हालांकि, ज्यादातर मॉम्स जिनकी प्रेगनेंसी नार्मल और हैल्दी रही है, वे पोस्टपार्टम वेट लूज़ के इन टिप्स का पालन कर सकती हैं।
पोस्टपार्टम वेट लूज़ चुनौतीपूर्ण हो सकता है, लेकिन यह निश्चित रूप से असंभव नहीं है। थोड़े से फोकस, कमिटमेंट, पेशन्स, हैल्दी डाइट और एक्सर्साइज़ प्लान का पालन करने से कुछ ही समय में एक हैल्दी और फिट बॉडी पाना आसान हो सकता है। प्रेगनेंसी और चाइल्डबर्थ पर इस तरह की अधिक जानकारी वाले ब्लॉग और लेखों के लिए, माइलो स्टोर Mylo Store पर ढेर सारे ब्लॉग देखें।
Yes
No
Written by
Priyanka Verma
Priyanka is an experienced editor & content writer with great attention to detail. Mother to an 11-year-old, she's a ski
Read MoreGet baby's diet chart, and growth tips
How to Dispose Dirty Diapers in Hindi | इस्तेमाल के बाद डिस्पोजेबल डायपर्स को कैसे करें डिस्पोज?
Plush Balls For Baby's Sensory Skills in Hindi | प्लश बॉल बच्चे की सेंसरी स्किल को कैसे बढ़ाती है?
Night Time Makeup Tips in Hindi | नाइट लुक के लिए काम आएँगे ये 8 मेकअप टिप्स
Pilonidal Cyst in Hindi | पिलोनाइडल सिस्ट क्या है? जानें इसके कारण और लक्षण
Breast Infection in Hindi | ब्रेस्ट इंफेक्शन क्या है? जानें इसके लक्षण
Screening Test for Women in Hindi | महिलाओं के लिए स्क्रीनिंग टेस्ट क्या होते हैं?
Mylo wins Forbes D2C Disruptor award
Mylo wins The Economic Times Promising Brands 2022
At Mylo, we help young parents raise happy and healthy families with our innovative new-age solutions:
baby carrier | baby soap | baby wipes | stretch marks cream | baby cream | baby shampoo | baby massage oil | baby hair oil | stretch marks oil | baby body wash | baby powder | baby lotion | diaper rash cream | newborn diapers | teether | baby kajal | baby diapers | cloth diapers |