Pregnancy Journey
24 October 2023 को अपडेट किया गया
क्या गर्भावस्था में खसखस खाना सुरक्षित है? इसका जवाब है हां।
गर्भावस्था के दौरान, सफेद खसखस खाई जा सकती है। सही तरीके से प्लान करने पर, यही खसखस आपके गर्भवती होने की संभावना को भी बढ़ा सकते हैं। बीज बनने के शुरुआती समय में बहुत ज्यादा एक्टिव रहने के बावजूद, खसखस में, रासायनिक बीटा-सिटोस्टेरॉल मिनट सांद्रता में पाया जाता है और वैज्ञानिकों ने शोध में पाया है कि यह इंसानों में एस्ट्रोजन हार्मोन (एस्ट्रोजेन) को प्रभावित करने का काम करता है। गर्भावस्था के दौरान खसखस खाने से जुड़ी कुछ जरूरी बातें यहां बताई गई हैं।
खसखस के पौधे पर यह बीज लगता है। हालांकि, इसकी मदद से खांसी, अस्थमा, बदहजमी, डायरिया या नींद न आने जैसी सेहत से जुड़ी समस्याओं को ठीक करने को लेकर कोई वैज्ञानिक स्तर पर पुष्टि नहीं मिलती है। केक, पेस्ट्री, फिलिंग्स, ग्लैज और पोरिड्ज जैसी चीजों में खसखस का इस्तेमाल किया जाता है। इसके तेल का इस्तेमाल, पेंट वार्निश और डिटर्जेंट बनाने में किया जाता है।
किसी भी गर्भवती महिला की डायट संतुलित होनी चाहिए, लेकिन उसमें पूरा पोषण भी हो। गर्भवती महिलाओं को पोषण से भरपूर खाना खाना चाहिए, क्योंकि इसका सीधा असर उनके पेट में पल रहे बच्चे के विकास और उसकी सेहत पर होता है। खसखस में प्रोटीन और ओमेगा-3 फैटी एसिड होते हैं, इसलिए गर्भावस्था के दौरान सफेद खसखस खाना फायदेमंद होता है। गर्भवती महिलाओं को उनके गायनेकोलॉजिस्ट, गर्भवस्था के दौरान खाई जा सकने वाली खसखस की सुरक्षित मात्रा की जानकारी दे सकते हैं।
खसखस 50% फैटी एसिड और जरूरी तेलों से मिलकर बनी होती है।
खसखस में जरूरी मात्रा में लिनोलिक एसिड और ओलिक एसिड होता है, इस वजह से यह अनसेचुरेटेड फैटी एसिड का स्रोत होते हैं। इन सप्लिमेंट की वजह से शरीर में एचडीएल स्तर बढ़ता है और एलडीएल स्तर कम होता है जिससे दिल की बीमारी का खतरा कम होता है।
खसखस में भारी मात्रा में फायबर होता है जो पेट और अंदरूनी अंगों को साफ रखने में मददगार होता है। यह गर्भवती महिलाओं के लिए फायदेमंद होता है जिन्हें बदहमजमी की शिकायत होती है।
इनमें भारी मात्रा में केल्सियम और मैग्नेशियम होता है इसलिए ये बहुत ही फायदेमंद होते हैं।
जरूरी पोषण पाने के लिए, गर्भवती महिलाएं अलग-अलग रेसिपी के साथ खसखस खा सकती हैं।
इनमें ढेर सारा विटामिन बी, खासतौर पर पेंथोजेनिक, फॉलिक और नाइसिन होता है।
ये भी पढ़े : गर्भावस्था के दूसरे महीने में अपनी डाइट में शामिल करें ये आहार
गर्भवस्था में खसखस खाने के फायदों के साथ-साथ कुछ नुकसान भी हो सकते हैं। ध्यान रखें कि गर्भावस्था में खसखस खाने से पहले महिलाओं को कुछ बातें याद रखनी चाहिएं जिनके बारे में यहां बताया गया है:
खसखस में भारी मात्रा में नशीला द्रव होता है जिससे ये बेहद आम होते हैं। खसखस में मौजूद ओपिओइड कोडीन की वजह से होने वाली संभावित कठिनाइयों के कारण महिलाओं को इससे बचना चाहिए। अगर तीसरे ट्रिमेस्टर में अगर इसकी ज्यादा मात्रा शरीर में चली जाए तो होने वाले बच्चे के श्वसन तंत्र में समस्या हो सकती है।
खसखस में भारी मात्रा में टॉक्सिन या मॉर्फिन होने की वजह से, यह मां और होने वाले बच्चे के लिए नुकसानदायक होते हैं। इसलिए, गर्भावस्था के दौरान खसखस की जरूरत से ज्यादा मात्रा से बचना चाहिए।
कुछ लोगों में खसखस की वजह से एलर्जी की समस्या हो सकती है। हालांकि, यह ऐसे मामले बेहद कम सामने आते हैं। एलर्जी के लक्षणों में कंजंक्टिवाइटिस, चकत्ते होना, उल्टी आना, मुंह के अंदरूनी हिस्से में सूजन होना या सांस लेने में परेशानी होना शामिल है। खसखस को सूंघने से से भी स्किन के लाल होने और त्वचा के नीचे एडोमा जैसी दूसरी समस्याएं हो सकती हैं।
कुछ ऐसे फूड जिनमें खसखस होती है-
पफ्ड ग्रेन प्रेट्जल
सलाद ड्रेसिंग
बेगल्स
ब्रेज क्लोव रोल
केक/मफिन
ऑरेंज खसखस केक
वेजिटेबल सॉस
पिस्ता पाई
खसखस की फिलिंग वाली पुडिंग
बबका, एक पारंपरिक जेविश डिश
चियाः सेहत के लिए फायदेमंद गुणों की वजह से चिया सीड्स भी लोगों की पसंद बनते जा रहे हैं। अन्य पोषण के साथ-साथ इनमें एंटी-ऑक्सीडेंट्स, फाइबर और प्रोटीन होता है। खसखस की ही तरह, चिया सीड की बनावट भी किरकिरी होती है। यह सबसे अच्छे तब होते हैं जब इन्हें पूरी तरह से सुखा लिया जाता है, क्योंकि यह लिक्विड को सोख लेते हैं और जेल की तरह बन जाते हैं। इस मिक्स को कैसरोल में बैक करने की बजाय बेगल, मफिन पर डालें या टोस्ट करें।
फ्लेक्ससीडः फ्लेक्ससीड भी एक अन्य विकल्प है, लेकिन इन्हें ऊपर से डालने की बजाय मिक्स करना ज्याद अच्छा होता है। हालांकि, अगर आपको नट्स पसंद हैं तो हो सकता है आपको यह कम पसंद आएं। इसके बावजूद, इन्हें बैक करने पर यह टेस्टी लगते हैं।
भांग के बीज: भांग के बीज का इस्तेमाल, खसखस के विकल्प के तौर पर किया जा सकता है। इनका इस्तेमाल उन रेसिपी में किया जा सकता है जिनमें खसखस का इस्तेमाल फिलिंग के तौर पर किया जाता है। भांग के बीज का, खसखस की तरह इस्तेमाल किया जा सकता है, लेकिन पहले उन्हें अच्छी तरह से मसल लिया जाना चाहिए।
तिलः सिकाई के बाद तिल, खसखस की जगह ले सकता है। बिना सिके हुए तिल का स्वाद कुछ अलग हो सकता है। इनका स्वाद खसखस की ही तरह होने और उसी तरह दिखने की वजह से, तिल के बीजों को पीसने पर ये खसखस के होने का आभास देते हैं। रेसिपी में भी खसखस की जगह तिल का इस्तेमाल किया जा सकता है। इनमें प्रोटीन, फाइबर, और विटामिन बी भरपूर मात्रा होती है।
1. Lo DS, Chua TH. (1992). Poppy seeds: implications of consumption. Med Sci Law.
2. Fotschki B, Opyd P, Juśkiewicz J, Wiczkowski W, Jurgoński A. (2020). Comparative Effects of Dietary Hemp and Poppy Seed Oil on Lipid Metabolism and the Antioxidant Status in Lean and Obese Zucker Rats. Molecules.
Tags
Poppy Seeds During Pregnancy in English, Poppy Seeds During Pregnancy in Tamil, Poppy Seeds During Pregnancy in Telugu, Poppy Seeds During Pregnancy in Bengali
Yes
No
Written by
Parul Sachdeva
A globetrotter and a blogger by passion, Parul loves writing content. She has done M.Phil. in Journalism and Mass Communication and worked for more than 25 clients across Globe with a 100% job success rate. She has been associated with websites pertaining to parenting, travel, food, health & fitness and has also created SEO rich content for a variety of topics.
Read MoreGet baby's diet chart, and growth tips
Is Turmeric Safe During Pregnancy in Hindi | प्रेग्नेंसी में हल्दी का दूध पीना कितना सुरक्षित?
Is Jumping During Pregnancy Safe in Hindi | प्रेग्नेंसी में उछल-कूद पड़ सकती है भारी! बढ़ सकता है मिसकैरेज का खतरा
Arogyavardhini Vati Uses in Hindi | आरोग्यवर्धिनी वटी के क्या फ़ायदे होते हैं और इसे इस्तेमाल करने का सही तरीक़ा क्या होता है?
Best Age To Get Pregnant in Hindi | प्रेग्नेंट होने की सही उम्र क्या होती है? [Part 2]
Best Age To Get Pregnant in Hindi | प्रेग्नेंट होने की सही उम्र क्या होती है? [Part 1]
Sperm Cramps Meaning in Hindi | पुरुषों के लिए कैसे मुसीबत बनता है स्पर्म क्रैम्प?
Mylo wins Forbes D2C Disruptor award
Mylo wins The Economic Times Promising Brands 2022
At Mylo, we help young parents raise happy and healthy families with our innovative new-age solutions:
baby carrier | baby soap | baby wipes | stretch marks cream | baby cream | baby shampoo | baby massage oil | baby hair oil | stretch marks oil | baby body wash | baby powder | baby lotion | diaper rash cream | newborn diapers | teether | baby kajal | baby diapers | cloth diapers |